सीहोर 13 सितम्बर (आनन्द भैया गाँधी)। शिवराज सिंह चौहान जैसे धुरंधर मुख्यमंत्री का भाषण हो और कोई चर्चा न हो, यह कैसे संभव हो सकता है। अक्सर देखने में आता है कि मुख्यमंत्री जैसे पद के वरिष्ठ नेता जब कहीं जाते हैं तो कोई ना कोई कट अवश्य मारते हैं। कुछ ऐसी ही बात यहाँ सीहोर में भी देर रात मुख्यमंत्री के भाषण के दौरान हो गई। सब उस वक्त पर स्तब्ध से रह गये जब मुख्यमंत्री ने कहा कि चेहरे भले बदल जायें लेकिन सीहोर जिले से पुन: जीत भाजपा की ही होगी।
कहते हैं कि मन की बात जुबान पर आ ही जाती है। कुछ ऐसी ही बात मुख्यमंत्री की जनआशीर्वाद रैली में भी देखने को मिल गई। सीहोर नगर से मुख्यमंत्री का कितना लगाव है यह बात तो विगत 3 साल में सीहोर का हर नागरिक समझ ही गया है। वर्तमान मुख्यमंत्री ने सीहोर में जाने कौन-सी नाराजी के चलते आज तक कोई विशेष पैकेज या योजना नहीं भेजी है। और कल जब बहुत लम्बे समय बाद वह सीहोर आये भी तो एक भी घोषणा या आश्वासन वह नहीं दे सके। सिर्फ भाषण पेल कर चलते बने। निश्चित ही जब कभी कोई मुख्यमंत्री अपने किसी प्रिय क्षेत्र में जाता है, तो अपनी पार्टी व समर्थक की विजय के लिये प्रचार-प्रसार करने जाता है ऐसे में अक्सर वह कुछ न कुछ घोषणा अवश्य करता है, लेकिन यहाँ तो बात सिरे से ही खारिज हो गई।
हालांकि भाजपा के स्थानीय नेता स्वयं को इस बात से संतुष्ट करने में लगे हैं कि भैया वो कोई मुख्यमंत्री के रुप में सीहोर थोड़े ही आये थे वह भाजपा का प्रचार-प्रसार करने के लिये आये थे। वह भाजपा नेता के रुप में प्रचार रथ में सवार हैं, यदि मुख्यमंत्री के रुप में आते तो निश्चित ही घोषणा करते जाते।
मन को समझाने को गालिब यह ख्याल अच्छा है की कहावत चरितार्थ करते हुए भाजपाईयों के चेहरों के भाव कुछ और, तथा मुख से बोल कुछ और ही इस विषय पर निकल रहे हैं। जो भी हो जनता को तो यह बात समझ में आना मुश्किल है कि मुख्यमंत्री, मुख्यमंत्री के रुप में नहीं कोई और रुप (भाजपा नेता के रुप)में आये थे।
अब रही बात मुख्यमंत्री के भाषण की तो सीहोर में हो रहे कार्यक्रम के दौरान सीहोर के मंच से जब उन्होने कहा कि सीहोर से भाजपा को बहुत अधिक आशीर्वाद मिला है चारों विधानसभा सीटों पर भाजपा की महाविजय जनता ने करवाई थी। मुख्यमंत्री ने भाषण के अंतिम शब्दों के रुप में यह भी कहा था कि आगामी चुनावों में भी मुझे पूरा विश्वास है कि जनता इसी बहुमत से भाजपा को जितायेगी। चेहरे भले बदल जाये लेकिन जनता भाजपा को ही विजयी बनायेगी।
सीहोर मुख्यालय पर दिये गये इस भाषण में आखिर वो कौन-कौने से विधायकों के लिये मुख्यमंत्री जी ने इशारा किया था कि चेहरे भले बदल जायें ? विधायक रघुनाथ मालवीय के आगामी विधानसभा चुनाव में टिकिट कटने की बात अब पुरानी हो चुकी है और अखबारों में भी छप चुकी है क्या मुख्यमंत्री जी रघुनाथ मालवीय के लिये सीहोर के मंच से इस प्रकार भाषण में यह इशारा कर रहे थे ? यह बात कुछ हजम नहीं हो पा रही है। वहीं एक विधानसभा के तो मुख्यमंत्री खुद विधायक है क्या उन्होने खुद के लिये यह शब्द बोले थे, लेकिन यह भी संभव नहीं माना जा रहा है।
रही बात इछावर के मंत्री विधायक करण सिंह वर्मा की तो क्या करण सिंह वर्मा और सीहोर विधायक रमेश सक्सेना के लिये नये सिरे मुख्यमंत्री इशारा कर गये हैं ? अब यह तो वक्त ही बतायेगा कि आखिर यह इशारा किसकी तरफ था। जो भी हो, लेकिन मुख्यमंत्री के भाषण में आई एक लाईन ने यहाँ राजनीतिक हल्कों में उतार-चढ़ाव मचा दिया है। विशेषकर सीहोर में इसकी व्यापक प्रतिक्रिया और असर शुरु हो चुका है। देखते हैं आगे-आगे क्या होता है...।
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