ऐसे में नगर में ले देकर सिर्फ टैंकरों का वितरण ही मोहल्ले-मोहल्ले हो रहा है जिससे जल वितरण की व्यवस्था जारी है। लेकिन यह टैंकर भी कागजों पर यादा और यथार्थ में कम दौड़ रहे हैं। फुरसत ने पहले ही एक समाचार के माध्यम से यह जानकारी प्रसारित की थी कि किस प्रकार टैंकरों का ठेका अपने प्रिय लोगों को दिलाया गया है और भारी कमाई का साधन इस व्यवस्था को बनाया है। जितने टैंकर चलते नहीं है उतने कागजों पर लिखाते हैं और जितने ट्रिप वह दिनभर में लगाते हैं उससे दुगने का भुगतान उन्हे किया जाता है। इस प्रकार पानी के नाम पर हो रही कमाई के कारण नगर में पानी को लेकर हाहाकार मचा हुआ है।
इधर सांठगांठ से नगर पालिका ने अनेक नलकून खनन भी करवा डाले हैं कुछ अनुपयोगी भी करवाये हैं, कुछ जबरन कराये हैं तो कुछ बेकार ही चले गये हैं, इसमें जितना रुपया बर्वाद किया गया है उसकी अपेक्षा पेयजल वितरण की व्यवस्था पर ध्यान दिया जाता तो निश्चित ही नगर में पानी को लेकर लड़ाई-झगड़े की स्थिति नहीं बनती। लेकिन बड़े-बड़े बिल बनाने के लिये यहाँ ऐसे अनेक प्रयोग कुछ लोग सांठ-गांठ से करने पर उतारु है।
आज अमर टाकीज के सामने नाले किनारे बसी अवैध बस्ती में जब एक टैंकर जल वितरण करने पहुँचा तो यहाँ मारपीट लड़ाई-झगड़ा शुरु हो गया। इस पर मजबूरन कुछ लोगों ने पुलिस को सूचित किया और फिर चीता पुलिस को यहाँ पूरे समय खड़े रहकर पानी वितरण करवाना पड़ा। पुलिस इसी काम में लगी रही कि किस प्रकार व्यवस्थित रुप से लोग पानी भर लें।
इधर शाम को जब एक नगर पालिका का टैंकर गंज क्षेत्र में गया तो यहाँ तो टैंकर ले जाने वाले अधिकारी के साथ मारपीट ही कर दी गई। जिस पर नगर पालिका कर्मचारियों ने अनुविभागीय अधिकारी राजस्व को सूचित किया तब पुलिस फोर्स और अधिकारी स्वयं घटना स्थल पर उपस्थित हुए। यहाँ मारपीट करने वाले को फटकार लगाई गई साथ ही नगर पालिका कर्मचारी दीपेन्द्र सिंह तोमर जिसके साथ मारपीट कर दी गई थी उसका मेडिकल भी कराया गया है। यहाँ मजे की बात यह रही कि मारपीट करने वाले ने नगर पालिका की लोहे की पुरानी टंकी जो अनेक महत्वपूर्ण स्थानों पर रुकमणी रोहिला के समय रखवाई गई थी उसे अपने कब्जे में ले रखा था और उसमें दादागिरी के साथ वह पानी भरवा रहा था। जब इसकी जानकारी नायब तहसीलदार और पुलिस को दी गई तो उन्होने यहाँ कन्हैयालाल राठौर ताराचंद राठौर के यहाँ से उक्त टंकी की जप्ती बनाकर संबंधित व्यक्ति पर कार्यवाही भी की है। इस प्रकार नगर में आये दिन अब पानी को लेकर झगड़े होने लगे हैं और संगीनों के साये में पानी का वितरण करना मजबूरी हो गया है।
अब पुलिस ही बंटवायेगी पानी...........
सीहोर। जल वितरण के दौरान लगातार लडाई-झगड़े होने की घटनाओं से परेशान मुख्य नगर पालिका अधिकारी ने समस्त कर्मचारियों के हस्ताक्षर युक्त एक आवेदन पुलिस को सौंप दिया है जिसमें मांग की गई है कि नगर में जल वितरण के दौरान होने वाली घटनाओं से बचने के लिये और कर्मचारियों की सुरक्षा की दृष्टि से पुलिस सहयोग करे। जल वितरण के दौरान पुलिस जवान यदि उपस्थित रहेंगे तो निश्चित ही मारपीट जैसी स्थितियाँ नहीं बनेगी। इसलिये नगर पालिका ने पुलिस से सहायता की मांग की है। निश्चित ही कल से पुलिस संगीनों के साये में जल वितरण करायेगी।