Tuesday, April 22, 2008

कुएं की मुण्डेर की नकली फाईल भी चर्चाओं में

सीहोर 21 अप्रैल (नि.सं.)। नगर के चौराहों पर एक और चर्चा अब आम होती जा रही है कि पालिका में एक नेताजी ने कुएं की मुंडेर से अपने हाथ खर्च निकालने का नया प्रयोग शुरु कर रखा है वह चाहे जब कुएं की मुंडेर बनाई जाने की फर्जी फाईल बनाता है, और वाहन खर्च डीजल-पेट्रोल निकाल लेता है। आये दिन इनके वार्ड के कुंओं की नकली फर्जी फाईलें नगर पालिका के गलियारों से चौराहों तक चर्चा का विषय बन जाती है।
नगर पालिका में क्या-क्या चल रहा है इसको लेकर छोटे-से नगर में अनेक चर्चाएं आये दिन होती रहती हैं। तरह-तरह की फाईलों के किस्से, पार्षदों द्वारा अध्यक्ष पर बनाये जाने वाले दबाव, कभी नलकूप खनन, कभी पानी के टैंकर के किस्से, कभी कुछ चैक तो कभी कुछ और कहानी-किस्से चौराहों पर आ जाते हैं।
इन दिनों एक और किस्सा चौराहों पर चर्चा में है। विशेष कर नगर पालिका में ठेकेदारी करने वाले ठेकेदारों के बीच इसको लेकर चर्चा यादा है कि एक नेताजी अपने वार्ड में जो कुछेक कुएं हैं उनके नाम से नकली फाईल बना लेते हैं, इन कुंओं पर न तो कुछ काम होता है ना ही कुछ काम करने की गुंजाईश लेकिन इन कुंओं की बाउण्ड्री दीवार बनाये जाने के काम की यह नकली फाईलें बना लेते हैं। यह फाईलें कम से 40 से 45 हजार रुपये की होती हैं।
जिनमें दर्शाया जाता है कि कु एं की मजबूत सीमा दीवार बनाई गई। यह फाईलें भी सेटिंग करके पूरी करवा ली जाती है और फिर आराम से इसका भुगतान कराया जाता है। अब इन मुँह लगे नेताजी की फाईलें यहाँ नगर पालिका के कुछ ठेकेदारों को खासी अखरने लगी हैं क्योंकि नेताजी एक बिना बात की दादागिरी करते हैं और इस प्रकार नकली फाईलों से सूख रुपये ले उड़ते हैं। नेताजी भी तरक्की पर हैं, आज कल पूरी किट में नजर आते हैं, गाड़ी-घोड़े की भी कमी नहीं है, अब तो इनके जेब खर्च और डीजल-पेट्रोल का खर्च भी इसी से निकलता है। नगर पालिका में आये दिन ऐसी नकली फाईलें बनाने में महारथ रखने वाला एक युवक जो नगर पालिका में ही कार्य करता है को पिछले दिनों कुछ कार्यों से हटा भी दिया गया है लेकिन इसके बावजूद यह अपनी कला का भरपूर लाभ उठाकर कई लोगों की नकली फाईलें बनाने में जुटा हुआ है। चौराहों पर होने वाली इस तरह चर्चाओं पर यदि यकीन किया जाये तो लगता है कि नगर पालिका सीहोर में जितनी असली फाईलें भुगतान के लिये लंबित नहीे है उससे यादा नकली फाईलें यहाँ लंबित है। आखिरकार नगर पालिका के कर्ताधर्ताओं को इस तरह की अफवाहों को रोकने के कारगर उपाय करने चाहिये। ताकि जनता को भी कुछ विश्वास हो सके।

सड़क हादसें में पांच घायल

सीहोर 21 अप्रैल (नि.सं.)। थाना बुदनी क्षैत्रार्न्तगत हुये सड़क हादसे में पांच लोग घायल हो गये । पुलिस ने मामला कायम कर लिये है । बस क्रमांक एमपी-09-1029 से नूरगंज से सेधया बापस जा रही बारात बस के चालक ने बस को तेजगति एवं लापरवाही से बस को चलाकर आज सुबह मिडघाट के समीप राग साइड से ओवर करके ट्रक क्रमांक आर.जे.32-जीए-742 मे सामने से टकरा दी जिससे बस में सवार बाराती गजराज सिंह, जगदीश, बच्चू सिंह, नारायण सिंह, भारत सिंह निवासी मानदता जिला खण्डवा को साधारण चोट आई पुलिस ने भारतसिंह आ. हीरालाल भिलाला की रिर्पोट पर बस चालक के विरूद्व प्रकरण दर्ज कर लिया है।

शादी व्याह के कारण बसें पड़ी कम, यात्री हैं ज्‍यादा

आष्टा 21 अप्रैल (नि.सं.)। भरपूर लग् होने के कारण शादी व्याह में मेहमानों का जाना और आना लगा हुआ है नगर का नया बस स्टेण्ड इन दिनों यात्रियों से भरा पड़ा है। बस आते ही उसमें सवार होने के लिये यात्रियों की भीड़ बस में चढ़ने के लिये उमड़ पड़ रही है अत्याधिक यात्रियों के कारण बसे कम पड़ गई है और बसों में यात्री ठूंस-ठूंस कर भरा जा रहा है।

महिला की मौत

आष्टा 21 अप्रैल (नि.प्र.)। पाऊखेड़ी निवासी बहादूरसिंह की पत्नी श्रीमति मधुबाई उम्र 22 वर्ष की मृत्यु हो गई उनकी मृत्यु के बाद आष्टा सिविल अस्पताल में पी.एम. किया गया एवं जांच हेतू भेजे जाने के लिए सील किया गया । महिला की मृत्यु का कारण अभी नही बताया गया लेकिन बताते है कि पेट दर्द की शिकायत के बाद उनहे इलाज हेतू आष्टा अस्पताल लाया गया था यहां डाक्टरो ने उन्हें मृत घोषित किया है। पुलिस ने मर्ग कायम कर लिया है।

एड.धीरज धारवां की सोच जन जन की सोच बनना चाहिये

आष्टा (सुशील संचेती)। खबर भले ही छोटी सी हो , उस समाचार पत्रों में भले ही प्रमुखता से प्रर्याप्त स्थान नही दिया गया हो लेकिन आष्टा जैसे उन्नति शील, प्रगतिशील, उच्च सोच रखने वाले नागरिकों के इस छोटे से शहर के एक जुनियर अधिवक्ता ने जो एक अनुकरणीय उदाहरण, देश, प्रदेश, समाज और जन-जन के सामने रखा है इसकी जीतनी भी हो प्रशंसा की जाना चाहिये कम है । उनके द्वारा किये गये अनुकरणीय कार्य को जन-जन तक पहुंचा कर जन-जन को प्रेरित किया जाना चाहिये क्योंकि आज लक डी माफीयाओं द्वारा अधिकारियों कर्मचारियों से मिलकर जिस प्रकार हरे भरे म.प्र. को बंजर और रेगिस्तान बनाने के प्रयास किये जा रहे है । वो पूरे प्रदेश के लिए एवं प्रकृति के लिए गहरी चिन्ता ओर सभी के लिए चिन्तन का कारण बना है और बनना चाहिये । जो कार्य जुनियर अधिवक्ता धीरज धांरवा ने गत दिवस अपने जन्मदिन पर जन्मदिन को पाश्चात्य संस्कृति के अनुरूप नही मनाते हुए उन्होंने अपने जन्मदिन पर कई जगाहों पर वृक्षारोपण कर पौधा के साथ मनाया भले ही उनका यह कार्य छोटा हो, कईयों ने इसे हंसी में भी उड़ाया होगा । कईयों ने उनके इस अच्छे प्रयास को सस्ती लोकप्रियता हासिल करने वाला माना होगा । लेकिन मेरी दृष्टि में धीरज ने अपने जन्मदिन पर ऐसा कार्य किया है जिसकी हर स्तर पर हर क्षैत्र में प्रशंसा कर सीख लेने की आवश्यकता है । जो कार्य धीरज धारवां ने किया ऐसा ही विचार वन-विभाग आष्टा को महिनों पूर्व आया था । उसने एक योजना बनाई थी कि आष्टा में वन-विभाग एक स्मृति वन विकसित करना चाहता है । इस स्मृति वन में प्रत्येक परिवार का सदस्य अपने या परिवार के किसी भी सदस्य के जन्मदिन, शादी की सालगिरह या किसी की भी स्मृति में चिरस्थाई बनाने के लिए उस दिन को यादगार दिन के रूप में याद करने के लिए उक्त स्मृति वन में आये और पौधे लगाये उसका अलग -अलग शुल्क भी तय किया था । स्मृति वन की योजना वन विभाग की अच्छी थी लेकिन लाल बस्ते में दब गई । इसी प्रक ार म.प्र. की वर्तमान सरकार ने भी बंजर हो रहे जंगलों के प्रति चिन्ता कर प्रदेश को हरा-भरा करने के लिए दो वर्षो से प्रदेश में बरसात के मौसम में हरियाली महोत्सव शुरू किया दो वर्षो में पूरे प्रदेश में लाखों पौधे लगाये, करोड़ो रुपये खर्च किये लेकिन क्या परिणाम देखा कि जितने खर्च किये और जितने पौधे रोपे उनमें से आज कितने जीवित है और कितने काल के मुंह में चले गये क्या उक्त योजना का सही मायने में क्रियान्वयन, देखरेख हुई है शायद नही क्योंकि हरियाली महोत्सव धरती को भले ही हरा भरा नही कर गया होगा ऐसे लोगो को तीसरे हरियाली महोत्सव का इंतजार है जो 2-3 माह बाद आने वाला है। ऐसे में एक व्यक्ति ने बंजर जमीन को हरा-भरा करने का बीड़ा उठाया है । उसका श्री गणेश आष्टा में किया है क्योंकि आष्टा ऐसा शहर है जहां के बुजुर्ग, युवा, बच्चे व्यापारी एक पार्क के लिए वर्षो से तरस रहे है । आष्टा नगर पालिका के अध्यक्ष कैलाश परमार ने अपने प्रथम पांच वर्ष के कार्यकाल एवं वर्तमान दूसरे कार्यकाल के वर्षो में नगर विकास के अनेकों कार्य किये विकास के कई अध्याय लिखे लेकिन उन लिखे अध्यायों की पुस्तक में आज भी आष्टा को हरा भरा पार्क देने में कैलाश परमार असफल रहे है । जनता की पार्क की उम्मीद पर कैलाश परमार अपने कार्यकाल में खरे नही उतरे है । क्या वे शेष बचे कार्यकाल में आष्टा को हरा भरा पार्क दे पायेंगे ? यह धीरज धारवां ने अपने जन्मदिन को जिस प्रकार वृक्ष-मित्र के रूप में मनाया इससे प्रेरणा लेकर जन-जन को ऐसा सोचना चाहिये अगर आष्टा को नागरिक ऐसा सोच कर ऐसा करते हे तो निश्चित आष्टा पूरे देश के लिए एक उदाहरण तो बनेगा प्रदेश और देश को हरा-भरा करने में यह एक मिल का पत्थर साबित होगा । धीरज को फुरसत की और से बधाई कि उन्होंने प्रदेश को हरा-भरा करने के उद्देश्य से जन्म दिन को वृक्ष-मित्र दिवस के रूप में मनाया नही तो आष्टा सिद्धीकगंज क्षैत्र में ऐसे भी लकड़ी माफीयाओं ने वन-विभाग के लोगो से मिलकर हरे-भरे इस क्षैत्र में हजारों पेडो को काट कर क्षैत्र का बाजार बनाने के लिए कार्य किया है जिसकी गुंज सिद्धीकगंज से लेकर भोपाल तक गुंजी थी । आज जिस प्रकार प्रकृति का सन्तुलन बिगड़ा है वर्षा आस्थिर हुई है मौसम बिगड़ा है यह सब वृक्षो की अंधा धुध कटाई के कारण ही हुआ है ऐसे में प्रदेश को बंजर और रेगिस्तान बनाने से रोकने तथा प्रदेश को हरा-भरा म.प्र. बनाने के लिए जो कार्य अधिवक्ता धारवां ने किया ऐसा कार्य हर आम और खाम को करने के लिए आगे आना होगा ऐसे लोगों का शासन और प्रशासन को भी सहयोग और सम्मान करना चाहिये । वही जो वृक्ष लगाये उसे इस प्रकार पाल पोशकर बढा करने की भी जिम्मेदारी निभाना होगी जैसे एक नवजात शिशु को पाल-पोश कर उसे बढा करने के लिए एक माता-पिता और परिजन करते है । लगाये पौधो को भी अपने परिवार का ही एक सदस्य मानना चाहिये तो ही यह अभियान जमीन से आसमान तक पहुंच पायेगा।

मंडी व्यापारियों के समर्थन में तथा अघोषित बिजली कटौती के खिलाफ नगर के सभी व्यापारी संगठनों ने ज्ञापन सौंपा

आष्टा 21 अप्रैल (नि.प्र.)। आष्टा कृ षि उपज मंडी के व्यापारियों के प्रतिष्ठानों पर 15 अप्रैल को जिन तत्वों ने उपद्रव कर तोड़-फोड़ ,लुट की जिनकी रिपोर्ट नामजद 16 अप्रैल को मंडी व्यापारी संघ ने की थी लेकिन वे आज तक खुलेआम धुम रहे है । पुलिस प्रशासन ऐसे तत्वो को गिरफ्तार करने में रूचि नही ले रही है ।
वही उक्त घटना के बाद से जो मंडी बंद है उससे पूरे नगर का व्यापार व्यवसाय चौपट हो गया है । प्रशासन शीध्र व्यवस्था करे और मंडी को चालू कराये जो हम्माल कार्य पर आना चाहते है उन्हें पूरी सुरक्षा प्रदान की जाये जेसे अनेको मांगो को लेकर आज आष्टा नगर के लगभग 20 व्यापारिक संगठनो के लगभग 150 से 200 व्यापारियों ने एक जुलुस बड़ा बाजार से निकाल कर ज्ञापन सौंपा । जुलुस में पहुंचे व्यापारियो ने घोषित 7 घंटे की बिजली के बाद भी जो दिन में एंव रात में घंटो आघोषित बिजली काटी जा रही है । उसको लेकर भी कड़ी नाराजी व्यक्त कर इस संबंध में भी व्यापारीयो ने कलेक्टर सीहोर के नाम से ज्ञापन तहसील दार बिहारी सिंह को सौपा ।
ज्ञापन देने पहुंचे नागरिको ने प्रशासन को 3 दिन की चेतावनी दी है कि नामजद आरोपियों को गिरफ्तार किया जाये एवं बिजली की आघोषित कटोती बंद की जाये नही तो सभी व्यापारिक नगर बंद का आव्हान करेंगे । तहसील कार्यालय पहुंचे व्यापारियो की और से दिये गये ज्ञापन का वाचन सुशील संचेती एंव संजय सोनी बन्टू ने किया तथा व्यापारी संघ के अध्यक्ष राजेश मित्तल, विनय आर्य, अशोक शीतल, प्रवीण छाड़ीवाल, रजनीश सुराना, कैलाश जैन, ताहिर अली, शहाबुद्दीन सैफी, शब्बीर भाई, विनोद नागौरी, टेलर अजय भाई , दिनेश सुराना, अशोक सेठिया, कल्याण सेठीया, नरेन्द्र जैन, नगीन छाजेड़, राकेश रावत, संजय सिंधकी, राजेन्द्र बनवट, विपूल छाजेड, संजय अग्रवाल, खमर भाई, सुरेश जैन, कालू सोनी, डबु सेठ, प्रभात धाड़ीवाल, प्रकाश छाजेड, जयंत जोशी, राजेश डूगरे, अभय देशलहरा, बाबू पाटीदार, सत्यनारायण अजनोदिया, नरेश रोधानी, पुरूषोत्तम गुलवानी, सहित सभी व्यापारी संगठनों के अनेको व्यापारी उपस्थित थे । डी.ई. नरेडा ने बताया कि जो घोषित कटौती है वो नगर में 7 घंटे की है लेकिन अघोषित कटौती उपर से होती है । इस संबंध में शीध्र आपकी भावना से वरिष्ठ अधिकारियो का अवगत कराउँगा । अंत में सभी व्यापारियों का सहयोग के प्रति कपड़ा रेडिमेड व्यापारी संघ के पूर्व अध्यक्ष नरेन्द्र जैन ने सभी का आभार व्यक्त किया।

मंडी 12 आरोपी पकड़ लिये गये

आष्टा 21 अप्रैल (नि।प्र.)। मंडी व्यापारियो के प्रतिष्ठानो को क्षति पहुंचा कर लाखो का नुकसान करने वालो की नामजद रिपोर्ट दर्ज कराई थी कल रात इन 24 को गिरफ्तार नही किया गया । आज जब व्यापारी सड़क पर उतरे तो ज्ञापन देने पहुंचे व्यापारियो को तहसीलदार बिहारी सिंह एवं टीआई अतिक अहमद खान ने बताया कि 24 में से 12 को गिरफ्तार कर लिया है । शेष की खोजबीन जारी है। वे भी शीध्र गिरफ्तार कर लिये जायेगे। गिरफ्तार किये गये आरोपियों के नाम कमल मेहरा, मुकेश लेसिया, पप्पु जाटव, भगवान दास कुशवाह, राय सिंह मेवाड़ा, मोती सिंह, मनोज कुशवाह, करण सिंह कुशवाह, देवबगस, मोर सिंह आदि।

आष्‍टा मण्‍डी में चली 20 राउण्‍ड गोलियां और छोड़े गये आंसू गैस...पढ़ने के लिये यहां चटकाएं

शिक्षा की गुणवत्ता बढ़ाने के लिए एक सौ दिवसीय कार्ययोजना

सीहोर 21 अप्रैल (नि.सं.)। जिले की 93 हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्ड्री स्कूलो की 100 दिवसीय कार्ययोजना के संबंध में आवासीय खेलकूद संस्था सीहोर में संयुक्त संचालक के.के. पाण्डे, संचालनालय लोक शिक्षण तथा ओ.पी.शर्मा संयुक्त संचालक भोपाल संभाग भोपाल एवं महेश जैन, सहायक संचालक लोक शिक्षण भोपाल के विशिष्ठ माग्रदर्शन में संपन्न हुये । बैठक को आर.पी. सेन, जिला शिक्षा अधिकारी एवं पी. होलानी, योजना अधिकारी द्वारा भी संबोधित किया गया ।
100 दिवसीय कार्ययोजना के संबंध में संयुक्त संचालक लोक शिक्षण के सहायक संचालक एवं संयुक्त संचालक भोपाल संभाग भोपाल द्वारा जिले के समस्त प्राचार्यो को संबोधित कर अवगत कराया कि प्रमुख सचिव शिक्षा एम.एम.उपाध्याय, द्वारा उ.मा.विद्यालयों तथा हाई स्कूलो में शैक्षिण सत्र से पूर्व समस्त तैयारी पूर्ण की जावें । उक्त दिशा निर्देशों के क्रम में सभी प्राचार्यो को बताया गया कि सीहोर जिले के लिए दो प्रकार के पायलट प्रोजेक्ट पर भी कार्यवाही की जाना है । इस संबंध में ब्लाक नस.गंज. की 10 प्राथमिक शाला, 6 माध्यमिक शाला, 5 हाईस्कूल एवं 3 उ.मा.वि. का चयन किया गया जहां वर्षभर सतत निगरानी में पठनपाठन एवं संसाधनो एवं शैक्षिक गुणवत्ता पर ध्यान केन्द्रित किया जायेगा । इस प्रकार एक अन्य पायलेट प्रोजेक्ट के अन्तर्गत जिले के समस्त हायर सेकेन्ड्री एवं हाईस्कूलो में विद्यालयीन कार्यो के आधार पर प्रतिमाह ग्रहिंग कर सतत मूल्यांकन निरीक्षण कर विद्यालयों में गुणवत्ता बढाने हेतू कार्य किया जावेगा । वरिष्ठ अधिकारियो द्वारा छात्र-बीमा, नि:शुल्क पाठय पुस्तक एवं विभागीय एवं संस्कृत छात्रवृत्ति योजनाओं के संबंध में विस्तार से मार्गदर्शन प्रदान किया । शिक्षा में गुणवत्ता हेतू सूचकांको का निर्धारण हेतू म.प्र. में सीहोर जिला को चयनित किया गया है । प्रत्येक हायर सेकेण्ड्री एवं हाईस्कूल के शैक्षणिक गुणवत्ता एवं परिवेश में परिणाममूलक बनाने की दृष्टि से विभिन्न सूचंकाको से प्राप्त स्थिति की ग्रेडिग की व्यवस्था की जावेगी । प्राचार्यो को जानकारी 27 अप्रैल तक इस कार्यालय में प्रस्तुत करने के निर्देश दिये गये है । उक्त बैठक में जिले के समस्त विकासखंड शिक्षा अधिकारी संकुल प्राचार्यो, आवासीय विद्यालय एवं उत्कृष्ठ विद्यालय के प्राचार्यो ने भाग लिया

सीहोर में हैजा फैलने की आशंका प्रतिबंधात्मक उपाय होंगे

सीहोर 21 अप्रैल (नि.सं.)। कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी राद्यवेन्द्र कुमार सिहं द्वारा जिले में संक्रामक रोग हैजा फैलने की आशंका के मद्देनजर प्रतिबंधात्मक उपाय लागू किये जाने का आदेश जारी कर दिया गया है । यह आदेश छ: माह या अन्य आदेश होने तक लागू रहेगा ।
जिलाधीश ने संक्रामक रोग हैजा फैलने की आशंका के मद्देनजर सार्वजनिक स्वास्थ्य की सुरक्षा के लिए म.प्र. आपत्तिजनक हैजा, ज्वर, आंत्रशोध विनियम नियंत्रण अधिनियम में निहित प्रावधानों के तहत प्रतिबंधात्मक उपाय तत्काल लागू करने का आदेश जारी किया गया है । जारी आदेश के मुताबिक अब सार्वजनिक स्थानों, बाजारो, उपहार गृहों, भोजनालयों, होटलो पर बासी मिठाईयों, नमकीन, सडे-ग़ले फलों, सब्जियों मांस-मछली , अंडो आदि की बिक्री नही की जा सकेगी । मिठाईयों नमकीन वस्तुओं, फल, सब्जियों दूध, दही, उबली चाय, काफी, शरबत, मांस मछली, अंडे, कुल्फी, आईस्क्रीम, वर्फ के लड्डू और चूसने वाले तरल पदार्थ खुले नही रखे जाएंगे । इन पदार्थो को जालीदार ढक्कनों से ढंककर या कांच के शोकेस, बंद अलमारी या पारदर्शी आवरण से इस तरह ढंककर रखा जाएगा । जिससे वे मक्खी-मच्छर और दूषित हवा से खराब नही हो सके । आदेश में यह भी स्पष्ट किया गया है कि प्रतिबंधित अवधि के दौरान कोई भी व्यक्ति न तो जिले में बाहर से उल्लेखित वस्तुएं या पकाया गया भोजन लायगा और न ही ले जायेगा ।
जिलाधीश द्वारा इस सिलसिले में सभी कार्यपालक दण्डाधिकारी, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, सिविल सर्जन, खण्ड चिकित्सा अधिकारी, जिला एवं जनपद पंचायतों के मुख्य कार्यपालन अधिकारी, नगर पालिका एवं नगर पंचायतों के मुख्य नगर पालिका अधिकारी, नगर पालिका के स्वास्थ्य अधिकारी और निरीक्षक तथा खाद्य विभाग के अधिकारी एवं निरीक्षकों को प्राधिकृत किया गया है । ये पदाधिकारी अधिसूचित क्षैत्र में किसी भी नाले, नालियों, गटरो, पानी के गङ्ढो पोखर, मलकुण्डो, संडासो, बस्त्रों, बिस्तरो, कूड़ा-करकट आदि प्रकार की गंदगी को हटाने या कीटाणु रहित करने के आदेश दे सकेंगे । आदेश के तहत दूषित पदार्थो को दण्ड प्रक्रिया संहिता की धारा-95 व 165 के तहत उनका अधिग्रहण किया जाकर नष्ट किया जायेगा । मध्यप्रदेश खाद्य अपमिश्रण निवारण नियम मे में निहित प्रावधानों के मुताबिक खाद्य पदार्थो के विक्रय, संग्रह और बनाने के लिए जारी खाद्य लायसेंस निलम्बित किए जायेगे । न्यायालयीन कार्यवाही की जायेगी जिसमें सजा और जुर्माने का प्रावधान निहित किया गया है ।