आष्टा 1 जनवरी (नि.प्र.)। आज बीआरसी कार्यालय में शिक्षा परिवार के नाम से नववर्ष 2009 के आगमन पर स्वागत एवं नववर्ष मिलन समारोह का आयोजन किया गया है। इस कार्यक्रम में जिन्हे अतिथि बनाया गया वे सभी ऐसे नेता है जो गुड़ी पड़वा को नववर्ष मानते हैं लेकिन वे आज पाश्चात्य संस्कृति के नववर्ष के कार्यक्रम पहुँचेंगे ? वैसे अभी तक का इतिहास रहा है कि बीआरसी में शिक्षा परिवार ने कभी नववर्ष का ना ही कोई कार्यक्रम किया है और ना ही मिलन स्वागत समारोह आयोजित किया। अचानक इस वर्ष इस शासकिय विभाग को यह आयोजन क्यों करना पड़ रहा है ?
खबर है कि पिछले दिनों आष्टा के इस शासकिय कार्यालय में जो एक बर्तन की दुकान ऊपर से लेकर नीचे तक के अधिकारियों के आशीर्वाद से लगी थी जिसकी शिकायत और गूंज आष्टा से मुख्यमंत्री के यहाँ तक पहुँची थी उसको दबाने और उसकी जांच की आंच आष्टा पर नहीं पड़े इसके लिये यह आयोजन आयोजित किया है। जांच की आंच के कवच बनाने के लिये ही इस कार्यक्रम में विधायक आष्टा, तीनों मंडलों के अध्यक्ष एवं अन्य नेताओं को यहाँ पर अतिथि बनाया गया है ताकि जब भी जांच की आंच आये तो ये नेता इस स्वागत सम्मान के बदले सुरक्षा कवच बन सके। पाश्चात्य संस्कृति के नववर्ष के स्वागत में देखना है कि गुड़ी पड़वा को ही अपना नववर्ष मानने वाले आज इस कार्यक्रम में जाते हैं या नहीं? कार्यक्रम को आयोजित करने वालों की मंशा को भी नेताओं को समझना होगा क्योंकि अचानक इस ही वर्ष तो नववर्ष नहीं आया है इसके पहले भी कई बार नववर्ष आये थे ? लेकिन इस आयोजन को करने के पीछे संस्था का स्वार्थ अधिक नजर आ रहा है। भारतीय संस्कृति की बात करने वाले नेता आज पाश्चात्य संस्कृति के कार्यक्रम में नजर आयेंगे।